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अब मोबाइल से पलभर में भेजें 5 लाख तक रकम, यूपीआई को मिली और पावर

भारतीय रिजर्व बैंक ने अस्पतालों में इलाज और शैक्षणिक संस्थानों में यूनिफाइड पेमेंट इंटरफेस के जरिये भुगतान की सीमा एक बार में एक लाख रुपये से बढ़ाकर पांच लाख रुपये कर दी है. आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास ने शुक्रवार को मॉनिटरी पॉलिसी मीटिंग में लिए गए निर्णयों की जानकारी देते हुए यूपीआई लिमिट बढ़ाने का ऐलान किया. आरबीआई के नए फैसले के बाद हॉस्पिटल और शिक्षा संस्थानों में अब यूपीआई की मदद से ज्यादा पेमेंट किया जा सकेगा.गौरतलब है कि देश में यूपीआई के प्रयोग को बढ़ावा देने के लिए रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया लगातार प्रयासरत रहा है केंद्रीय बैंक के उठाए कदमों की वजह से हर महीने यूपीआई ट्रांजेक्शन की संख्या लगातार बढ़ रही है. आरबीआई ने यूपीआई में ऑफलाइन ट्रांजेक्शन से लेकर आर्टिफिशल इंटेलिजेंस के इस्तेमाल को भी बढ़ावा दिया है. आसान और जल्‍द भुगतान होने की वजह से आम से लेकर खास आदमी की बीच यूपीआई खूब लोकप्रिय हुआ है.आरबीआई के नए नियमों के अनुसार, अब स्‍कूल-अस्‍पताल और अन्‍य शैक्षणिक संस्‍थानों और अस्‍पतालों में यूपीआई यूजर्स प्रति ट्रांजेक्शन एक लाख के बजाय 5 लाख रुपये तक का भुगतान यूपीआई के माध्‍यम से कर सकेंगे. इस फैसले से इन संस्थानों में यूपीआई के इस्तेमाल को बढ़ावा मिलेगा. अस्पतालों के बिल और स्कूल-कॉलेजों फीस जमा करने में होने वाली असुविधा कम हो जाएगी.भारतीय रिजर्व बैंक ने आज घोषणा की कि उसने विशिष्ट लेनदेन के लिए UPI ऑटो पेमेंट की सीमा बढ़ाने का प्रस्ताव दिया है. घोषणा के अनुसार जब UPI ऑटो- पेमेंट किया जाता है तो अतिरिक्त फैक्टर ऑथेंटिथेंकेशन की आवश्यकता होती है. फिलहाल यह तब लागू होता है जब 15,000 रुपये से अधिक की राशि के लिए ऑटो-पेमेंट किया जाता है. इस प्रस्ताव के अनुसार, केवल म्यूचुअल फंड सब्सक्रिप्शन, बीमा प्रीमियम सब्सक्रिप्शन और क्रेडिट कार्ड रीपेमेंट के लिए इस सीमा को बढ़ाकर 1 लाख रुपये किया जा रहा है.

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